High Court: संविधान के अनुसार म्युनिसिपल काउंसिल चुनावों को उसकी अवधि समाप्त होने से पहले कराना अनिवार्य है, लेकिन सरकार ने अभी तक इसे गंभीरता से नहीं लिया है।
पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने 42 म्यूनिसिपल काउंसिल व कमेटी का कार्यकाल पूरा होने के महीनों बीत जाने के बाद भी चुनाव नहीं होने पर सरकार से पूछा कि जब सुप्रीम कोर्ट में लंबित याचिका में कोई अंतरिम आदेश नहीं है तो सरकार चुनाव क्यों नहीं करवा रही है। अब हाईकोर्ट ने पंजाब सरकार को चुनाव को लेकर अपनी स्थिति को 5 अगस्त तक बताने का आदेश दिया है।
High Court: कार्यकाल दिसंबर 2022 में समाप्त हो गया है।
मलेरकोटला निवासी बेअंत सिंह ने जनहित याचिका दाखिल कर हाईकोर्ट को बताया कि पंजाब की 42 म्युनिसिपल काउंसिल व कमेटी का चुनाव उनका कार्यकाल पूरा होने के कई महीने बीत जाने के बावजूद नहीं हो रहा है। चुनाव नहीं होने के कारण इन क्षेत्रों में कोई विकास नहीं हो रहा है। अधिकांश म्युनिसिपल काउंसिल का कार्यकाल दिसंबर 2022 में समाप्त हो गया है।
High Court: संविधान के अनुसार म्युनिसिपल काउंसिल चुनावों को उसकी अवधि समाप्त होने से पहले कराना अनिवार्य है, लेकिन सरकार ने अभी तक इसे गंभीरता से नहीं लिया है। स्थानीय निकाय विभाग ने एक अगस्त 2023 को चुनाव की अधिसूचना जारी की थी और चुनाव नवंबर में किया गया था। इसके बावजूद आज तक चुनाव नहीं हुए हैं। याची ने चुनाव आयोजित करने के लिए सरकार को भी कानूनी नोटिस भेजा था, लेकिन कोई लाभ नहीं हुआ। सरकार की कोई कार्रवाई नहीं होने पर याची को अब हाईकोर्ट जाना पड़ा है।
याची ने हाईकोर्ट से मांग की है कि सरकार को चुनाव करवाने का आदेश दिया जाए। सुनवाई के दौरान राज्य सरकार ने कहा कि उनकी एक याचिका सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है। हाईकोर्ट ने पूछा कि क्या सुप्रीम कोर्ट ने कोई अंतरिम आदेश दिया है, लेकिन कोई उत्तर नहीं मिला। हाईकोर्ट ने कहा कि जब कोई बाधा नहीं है तो आखिर चुनाव क्यों नहीं होते?
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Chhattisgarh High Court से राज्य सरकार को बड़ा झटका, वार्ड परिसीमन पर लगाई रोक | CM Vishnu Deo Sai
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